छत्तीसगढ़

केंद्र सरकार की ‘नमो ड्रोन योजना’ किसानों को खेती-किसानी में मिल रही मदद, छिड़काव हुआ आसान समय की बचत और लागत में आई कमी…

केंद्र सरकार की नमो ड्रोन परियोजना से छत्तीसगढ़ की बिहान परियोजना से जुड़ी महिलाओं को रोजगार के नए-नए अवसर सुलभ हो रहे है। जिसके चलते आर्थिक रूप से भी आत्मनिर्भर हो रही हैं।

नमो ड्रोन योजना के तहत ग्राम पोंडी की सुश्री सीमा वर्मा और चोरभट्ठी कला की प्रितमा वस्त्रकार सफलता पूर्वक ड्रोन चलाकर खेतों में नैनों यूरिया का छिडकाव कर रहीं है। इससे किसानों के समय और कृषि लागत की बचत हो रही है। इन महिलाओं से अन्य महिलाएं भी प्रेरित हो रही है।

केंद्र सरकार की महिला सशक्तिकरण की इस योजना के तहत सुश्री सीमा वर्मा और श्रीमती प्रितमा वस्त्रकार को योजना के तहत ड्रोन दिया गया है। ड्रोन देने से पहले ग्वालियर में इन महिलाओं को 15 दिन का प्रशिक्षण दिया गया। महिलाओं ने बताया कि ड्रोन के जरिए प्रति एकड़ में नैनो यूरिया के छिड़काव में 5 से 7 मिनट का समय लगता है जिससे किसानों के समय और कृषि लागत की बचत हो रही है। महिलाएं ड्रोन चलाकर आर्थिक रूप से सक्षम बन रही है। सुश्री सीमा वर्मा द्वारा अभी तक 85 एकड़ मे ड्रोन के माध्यम से छिड़काव कर 25500 की आय अर्जित की गई है। सीमा ने बताया कि ड्रोन से छिड़काव करने से किसानों को भी कृषि लागत में कमी आती है एक एकड़ में ड्रोन से छिड़काव का 300 रूपए लिया जाता है। ड्रोन परियोजना किसानों के भी लिए बेहद उपयोगी है।

बिलासपुर जिले के ग्राम बेलतरा की महिलाओं को राज्य शासन द्वारा ड्रोन चलाने का प्रशिक्षण दिया जा रहा है। ड्रोन दीदियों ने एक संगठन भी बनाया है। इस संगठन में 500 महिलाएं शामिल है। बेलतरा में 8 अगस्त गुरूवार को महिला-किसान उत्पादक संगठन की वार्षिक आमसभा रखी गई थी। जहां महिलाओं को ड्रोन चलने का प्रशिक्षण भी दिया गया।

𝐁𝐇𝐈𝐒𝐌 𝐏𝐀𝐓𝐄𝐋

𝐄𝐝𝐢𝐭𝐨𝐫 𝐚𝐭 𝐇𝐈𝐍𝐃𝐁𝐇𝐀𝐑𝐀𝐓 𝐋𝐢𝐯𝐞 ❤
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